बिना उसे दर्द हुए उसकी सील खोली

दोस्तो, चिकनी चूत वाली पाठिकाओं को चूस कर सलाम और खड़े लौड़ों को माल भरा नमस्कार, मैं विक्की हूँ, मैं करीब तीन साल से अन्तर्वासना की मस्त कहानियाँ पढ़ रहा हूँ।

मैं अपने बारे में बता दूँ, मैं एक मेडिको स्टूडेंट हूँ और एक साल तैयारी करने के बाद मैं एमबीबीएस में सिलेक्ट हुआ, तो मुझे सेक्स के बारे में काफी नॉलेज है।

यहाँ तक कि मैं लड़कियों के उन सवालों का भी जवाब दे सकता हूँ जो शायद कोई ना दे सके, कोई लड़की भी नहीं, जैसे उनकी माहवारी की कोई समस्या या कब सेक्स करने से लड़की माँ नहीं बनेगी, क्या करने से अधिक मज़ा आएगा, दर्द कम कैसे होगा?
पहली बार चुदाई या और कुछ भी अन्य जानकारी भी मैं दे सकता हूँ…!

खैर.. मैं अपनी कहानी पर आता हूँ।

वैसे तो मुझे बहुत नॉलेज थी, शायद 11वीं से ही, लेकिन जब डॉक्टरी की पढ़ाई की, तो मैंने अपना ध्यान सेक्स पर ही केन्द्रित किया और एनाटॉमी एंड फिज़ियालॉजी की जानकारी हुई।

बस तभी से मेरे दिमाग़ में सेक्स घूमने लगा लेकिन तब तक मैंने कुछ किया नहीं था, हाँ.. जानता ज़रूर था।

बस ऐसे ही एक दोस्त ने मुझे इस साइट के बारे में बताया तो पढ़कर तो ऐसा लगता था कि जल्दी ही चूत न मिली तो शायद मैं किसी का जबरन चोदन ही ना कर दूँ..!

पर एक बार तो भगवान भी सुन लेता है, भले ग़लत बात ही सही। मैं फ़ेसबुक पर एक आईडी बनाए हुए हूँ। अभी करीब 6 महीने पहले की बात है एक लड़की से मेरी दोस्ती और फिर चैट हुई।

करीब एक महीने बाद हम बिल्कुल खुल गए।

एक दिन उसने अपना असली नाम बताया और बताया कि वो मेरे ही शहर में ही रहती है। शायद वो ज़्यादा ही सेक्सी बातें करना चाहती थी तो मैंने उसे अपना मोबाइल नंबर दे दिया।

उसका फोन आया, हम मिलने लगे। चुम्मा-चाटी वगैरह हुई। एक-दो बार उसके मम्मे भी दबाए। उसे ब्लू फिल्म भी दिखाई।

एक दिन उसने कहा- उसे ‘कुछ’ करना है..!

तो मैंने कॉलेज से बंक मारा और एक होटल में एक कमरा लिया। कुछ देर बाद उसे वहीं बुलाया।

उससे मिलता तो हमेशा था लेकिन उस दिन वो अप्सरा से कम नहीं लग रही थी। लाल रंग का स्लीवलेस टॉप और उस पर काली जीन्स, बाल खुले हुए मानो कोई हीरोइन हो..!

जैसे ही कमरे में आई, मुझे चूमने लगी। मैंने उसको बड़े प्यार से बैठाया और उससे कुछ मीठी-मीठी बातें की और चूंकि उसकी इच्छा चुदने की थी तो मैंने सबसे पहले उसे एक हैवी पेन-किलर दी, क्यूँकि उसने बताया था कि वो अक्षतयौवना है।

फ़िर एक तौलिया बिस्तर पर बिछा दिया, जो मैं बैग में रख कर लाया था।

उसे लगा मैंने उसे कोई सेक्स की गोली दी, इसलिए उसने मेरा लण्ड पकड़ लिया। क्यूँकि मेरे साथ ऐसा पहली बार हो रहा था, मुझे लगा मैं सपना देख रहा हूँ।

मैंने उसके कपड़े उतारने शुरू कर दिए और उसने मेरे कपड़े भी उतार दिए, कुछ ही पलों में हम दोनों बिल्कुल नंगे हो गए।

उसके मस्त मम्मे भी मुझे मदहोश कर रहे थे। मैंने उसके दूध दबाने शुरू किए, उसके निप्पल ज़ोर-ज़ोर से चूसने लगा। वो बहुत गर्म हो गई और जैसे ही मैंने उसके निप्प्लों को काटा, वो ज़ोर-ज़ोर से सिसकारी भरी आवाजें निकालने लगी।

तब मैंने पहली बार किसी की चूत आँखों के सामने देखी, वो इतनी सुंदर लग रही थी मानो गुलाब कुछ कम खिला हो। एकदम सुर्ख गुलाबी, बिल्कुल चिकनी साफ चूत, एक भी बाल नहीं, गुलाब की पंखुड़ी जैसे खुलने को बेताब हो।

मैंने भी उसी दिन नीचे की सफाई की थी, तो मैं भी बिल्कुल चिकना था। मैंने उसकी चूत पर एक चुम्मी ली, वो सिहरने लगी। फिर उसके दाने को जीभ से टटोला और धीरे-धीरे चूसने लगा।

वो बहुत गर्म हो गई थी, तो उसने कहा- मुझे भी तुम्हें मज़े देना है।

तो हम 69 की पोज़िशन में लेट गए और उसने मेरे लौड़े की खाल पीछे कर दी और लॉलीपॉप जैसे चूसने लगी। मैं तो जन्नत की सैर कर रहा था।

मैंने भी उसकी चूत चाटनी चालू रखी, फिर अचानक वो अकड़ने लगी और लण्ड को काटने लगी, मेरा सिर अपनी चूत में घुसाने लगी, मानो मुझे पूरा ही चूत में घुसेड़ लेगी।

फिर जैसे ही उसकी चूत से नदियां बहने लगीं, मैं चाटता रहा और सब पी गया।
क्या खुशबूदार नमकीन स्वाद था उसका..!

बस और इतने में मैं भी झड़ने वाला था। मैंने उससे कहा तो वो बोली- मेरे मुँह में ही झड़ना..!
तो मैं रुक गया और उसने एक बार जोर से चूसा तो पूरी पिचकारी उसके मुँह में चली गई ..! फिर मैं और वो थोड़ी देर ऐसे ही लेटे रहे।
फिर वो बोली- अभी तो सब बाकी है..!

और फिर हमने मेरे मोबाइल पर सेक्स मूवी देखी, थोड़ी देर बाद वो फिर मेरा लण्ड हाथ में लेकर सहलाने लगी। तो मेरा साँप फिर से फन उठाने लगा।
उसे भी उत्तेजना आई, फिर वो बोली- मेरा पहली बार है..!
तो मैंने उसे कहा- मैं तुमको बिल्कुल दर्द नहीं होने दूँगा।

मैंने अपने बैग में से वैसलीन की शीशी निकाली, जो मैं साथ लाया था। उसकी चूत पर उंगली से बहुत अन्दर-बाहर रगड़ी, फिर अपने लौड़े पर भी लगाई।

मुझे पता था अब तक पेन-किलर का असर हो गया होगा तो मैंने उसके पैर पूरी तरह फैलाए और एक उंगली उसकी चूत में डाली।

वो एकदम से उचकी, मैंने देख लिया था कि ऊँगली पूरी चली गई और थोड़ा सा खून भी आया है, पर उसे देखकर मैं समझ गया कि पेन-किलर ने अपना काम कर दिया, क्यूँकि उसे बिल्कुल दर्द नहीं हुआ।

फिर वो बोली- अब करोगे भी कुछ..!

मैंने उसकी चूत पर लण्ड रगड़ा, फिर बहुत सारी वैसलीन मुँह में ले ली और थूक मिला कर जब वो पानी जैसी हो गई तो उसकी चूत और मेरे लण्ड पर लगाई और लण्ड को धीरे से अन्दर किया।

थोड़ा सा अन्दर गया, मैं रुक गया पर वो बोली- डालो न..!

तो मैं समझ गया कि उसे दर्द नहीं हुआ। मैंने एक जोरदार झटके से पूरा 6.5 इंच का लण्ड भीतर कर दिया। अब उसे थोड़ा सा दर्द हुआ और वो बोली- आ..हह.. रूको थोड़ा..!

मैं थोड़ी देर रुका, पर थोड़ी देर बाद वो खुद ऊपर-नीचे होने लगी, तो मैं समझ गया कि अब सब नॉर्मल है। तो मैंने भी शॉट मारने शुरू कर दिए।

पूरा कमरा उसकी चूत और मेरे शॉट मारने की आवाज़ से गूँज रहा था और वो धीरे-धीरे सेक्सी आवाजें निकाल रही थी।

मैं उसके दूध भी दबाता रहा और फिर वो मुझे लिटा कर मेरे ऊपर आ गई और अपनी गाण्ड हिला-हिला कर पूरा लण्ड अन्दर लेने लगी।

बस पाँच मिनट की चुदाई के बाद वो झड़ने और अकड़ने लगी, तो मैंने पोजिशन बदल कर उसे पलंग पर लिटा दिया और थोड़ी देर रुका, फिर शॉट मारने लगा, पर झड़ने में बहुत टाइम लग रहा था।

तभी मुझे लगा वो फिर से झड़ने वाली है, तो मैंने शॉट तेज कर दिए और जैसे ही उसकी चूत सिकुड़ी, मैं भी झड़ने वाला था तो मैंने चूत से लण्ड निकाला और सारा माल उसके कबूतरों पर निकाल दिया।

फिर ऐसे ही निढाल हो कर लेट गए।

हम जब उठे तो देखा पूरा तौलिया खून से लाल हो गया था। उसने देखा तो वो डर गई, पर उसे भी पता था कि पहली बार ऐसा होता ही है।

फिर उसने मुझे चूमा और बोली- आई लव यू विक्की.. मुझे लगा ही नहीं कि ये मेरा पहली बार था..! अच्छा हुआ मैंने पहली बार तुमसे चुदवाया, नहीं तो मेरी सहेली ने मुझे बहुत डराया था कि पहली बार में तो लड़की दर्द से बेहोश ही हो जाती है, जबकि मुझे तो तुम से भी ज़्यादा मज़ा आया…!

चुदाई के बाद हम दोनों होटल से अपने अपने घर चले गए।

उसके बाद तो उसको कई बार चोदा। अब उसकी और कामनाएँ भी थीं जो मैं आपको फिर कभी लिखूँगा, फिलहाल तो मुझे आपके ईमेल का इन्तजार है।
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